किसान आंदोलन: खनौरी में आज महापंचायत... अनशन पर बैठे दल्लेवाल देंगे संदेश; आ सकते हैं 2 लाख किसान, देश भर के किसानों की नजरें टिकीं

Written by sabrang india | Published on: January 4, 2025
बैठक में शामिल नहीं होने पर किसान नेता सरवन सिंह पंधेर ने कहा कि सुप्रीम कोर्ट की ओर से बनाई गई कमेटी से बातचीत के लिए हम लोग नहीं जाएंगे। यह पहले ही साफ किया जा चुका है कि यह मामला अदालतों का नहीं है।


साभार : सोशल मीडिया एक्स

"खनौरी में आज शनिवार को बड़ी किसान महापंचायत होगी। इसमें पंजाब और हरियाणा समेत दूसरे राज्यों से बड़ी संख्या में किसान पहुंचेंगे। यह महापंचायत 40 दिन से अनशन पर बैठे किसान नेता दल्लेवाल के कहने पर बुलाई गई है। दल्लेवाल खुद भी किसानों को संबोधित करेंगे जिसे लेकर पूरे देश के किसानों की नजर इस पर टिकी है। उधर, शंभू व खनौरी बॉर्डर पर बैठे किसानों की सुप्रीम कोर्ट की ओर से गठित कमेटी के साथ शुक्रवार को भी बैठक नहीं हो पाई। किसान संगठनों के सदस्यों के बैठक में आने से मना कर दिया है। इस पर कमेटी ने भारतीय किसान यूनियन एकता उगराहां को आज चार जनवरी को फिर से बैठक के लिए आमंत्रित किया है लेकिन उन्होंने भी इसे खारिज कर दिया है।"

बैठक में शामिल नहीं होने पर किसान नेता सरवन सिंह पंधेर ने कहा कि सुप्रीम कोर्ट की ओर से बनाई गई कमेटी से बातचीत के लिए हम लोग नहीं जाएंगे। यह पहले ही साफ किया जा चुका है कि यह मामला अदालतों का नहीं है। हमारी मांग केंद्र सरकार से है। केंद्र सरकार हमसे बातचीत करें। दूसरी ओर, खनौरी में किसानों की शनिवार को बड़ी किसान महापंचायत होगी। इसमें पंजाब और हरियाणा समेत दूसरे राज्यों से बड़ी संख्या में किसान जगजीत सिंह दल्लेवाल के समर्थन में पहुंचेंगे। 40 दिन से आमरण अनशन कर रहे दल्लेवाल महापंचायत में किसानों को संदेश देंगे। महापंचायत से एक दिन पहले उन्होंने वीडियो संदेश जारी कर लोगों से खनौरी पहुंचने की अपील की है। कहा, मेरा सबसे निवेदन है कि मैं चार जनवरी को खनौरी बॉर्डर पर आप सबको देखना चाहता हूं।

खनौरी बॉर्डर पर आंदोलनकारी किसानों की महापंचायत को 40 दिन से अनशन पर बैठे दल्लेवाल भी संबोधित करेंगे। वहीं किसानों की महापंचायत को देखते हुए हरियाणा पुलिस ने जींद में हाई अलर्ट कर दिया है। जिले में बीएनएस की धारा 163 (पूर्व में आईपीसी की धारा 144) लागू कर दी गई है। बॉर्डर पर पुलिस और अर्धसैनिक बलों की 21 कंपनियां तैनात कर दी गई है। यहां किसी तरह के हालात से निपटने के लिए 21 डीएसपी भी ड्यूटी पर रहेंगे। हरियाणा पुलिस ने नरवाना से गढ़ी होकर पंजाब जाने वाले रास्ते को भी बंद कर दिया है। पुलिस महापंचायत के बाद दिल्ली कूच की कोशिश पर भी नजर रख रही है।

दो लाख किसानों के जुटने का दावा

किसान नेताओं अभिमन्यु कोहाड़ व काका सिंह कोटड़ा ने बताया कि जहां मोर्चे की पहली ट्रॉली (पंजाब की तरफ से) एवं आखिरी ट्राॅली (हरियाणा की तरफ से) है, वहां पर स्टेज बनाया जा रहा है। उसी स्टेज से दल्लेवाल किसानों को संबोधित करेंगे। दावा किया कि सुबह 11 बजे से दोपहर 3 बजे तक होने वाली इस महापंचायत में देश भर से करीब 2 लाख किसान मोर्चे पर पहुंचेंगे। उन्होंने कहा कि दल्लेवाल या दोनों मोर्चों की तरफ से कोई भी पीआईएल सुप्रीम कोर्ट में दाखिल नहीं की गई। वहीं, डॉक्टरों ने बताया कि दल्लेवाल जब भी पैरों पर खड़े होने का प्रयास करते हैं तो उनका बीपी कम हो जाता है। उन्हें मंच पर ले जाते समय सारे मेडिकल एहतियात बरते जाएंगे।

दल्लेवाल का इलाज कराने से फिर इनकार, मेडिकल टीमें तैनात

पंजाब सरकार के निर्देश पर शुक्रवार को एसएसपी डॉ. नानक सिंह के नेतृत्व में जिला प्रशासन की टीम ने दल्लेवाल से मुलाकात की। उनसे उचित इलाज कराने की अपील की, लेकिन सरकार की इस अपील को किसान नेता व उनके साथियों ने सिरे से ठुकरा दिया। डॉक्टरों ने दल्लेवाल की जांच की और उनके ब्लड सैंपल भी लिए गए। खास है कि दल्लेवाल कैंसर के मरीज हैं। भूखा रहने के कारण वह अपनी दवाएं भी नहीं ले पा रहे हैं, जिस वजह से उन्हें काफी परेशानी हो रही है। लिवर व किडनी के टेस्ट लगातार खराब आ रहे हैं। अगर डल्लेवाल जल्द अनशन समाप्त भी करते हैं, तो वह कभी भी रिकवर नहीं कर सकेंगे

सुप्रीम कोर्ट की कमेटी से बैठक का कोई मतलब नहीं 

किसानों का कहना है कि कमेटी पहले ही अपना फैसला सुप्रीम कोर्ट के बता चुकी है, तो इस बैठक का कोई मतलब नहीं है। किसान नेताओं ने इस बैठक को किसान आंदोलन में फूट डालने के लिए बुलाए जाने की बात कही। कहा कि यह कमेटी पहले ही अपनी सिफारिश सुप्रीम कोर्ट के समक्ष रख चुकी है। किसान नेताओं ने कहा कि कमेटी की नियम शर्तों के चलते भी किसान संगठन बैठक में शामिल नहीं हुए। आज फिर से कमेटी ने किसानों को बैठक के लिए न्योता दिया गया है। लेकिन बैठक में किसान नहीं आएंगे। बैठक में शामिल नहीं होने पर किसान नेता सरवन सिंह पंधेर ने कहा कि सुप्रीम कोर्ट की ओर से बनाई गई कमेटी से बातचीत के लिए हम लोग नहीं जाएंगे। यह पहले ही साफ किया जा चुका है कि यह मामला अदालतों का नहीं है। हमारी मांग केंद्र सरकार से है। केंद्र सरकार हमसे बातचीत करें। बहरहाल, पूरे देश के किसानों की नजरें आज की इस महापंचायत पर टिकीं है।

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