राजस्थान में बाबाओं के आश्रमों में लड़कियों और महिलाओं को बंधक बनाकर या ब्रेन वॉश करके रखने और उनके शोषण करने का एक बड़ा खुलासा राजसमंद में हुआ। इससे पता चलता है कि आश्रमों में किस तरह से व्यभिचार और दुराचार चल रहा है और सरकार लगातार आंख बंद किए रहती है।
Image Courtesy: Hindustan Times
राज्य में ऐसे कई मामले सामने आए जिनमें आश्रमों में रहने वाली लड़कियों और महिलाओं ने यौन शोषण के आरोप लगाए। मामला तूल पकड़ने पर कुछ बाबा गिरफ्तार भी हुए, लेकिन उनके आश्रम बदस्तूर चलते रहे। राजस्थान ऐसे यौन शोषण के अड्डों का गढ़ बना हुआ है।
आरएसएस और वसुंधरा सरकार का एजेंडा पूरा करने वाले इन आश्रमों पर कभी कोई कड़ी कार्रवाई सरकार ने नहीं की। इसी का नतीजा निकला कि राजसमंद के राजमहल होटल में 68 लड़कियां बंद थीं, जिन्हें पुलिस ने छुड़ाया। इनमें से 20 लड़कियां तो केवल 12 से 16 साल की हैं। पुलिस का ही कहना है कि इन लड़कियों को होटल में छिपाकर रखा गया था।
राजस्थान के आश्रमों में बड़ी संख्या में इस तरह की लड़कियों और महिलाओं का मिलना मानव तस्करी की ओर इशारा करता है, लेकिन इस दिशा में कभी कोई जांच की ही नहीं जाती। दैनिक जागरण की खबर के अनुसार, राजसमंद के होटल से छुड़ाई गईं लड़कियां कोई आसपास के जिलों की नहीं थीं, बल्कि बिहार, झारखंड, पश्चिम बंगाल और असम जैसे दूर-दराज के प्रांतों की भी थीं। कई लड़कियों को तो अपने घर-परिवार का ठिकाना तक नहीं मालूम।
राजसमंद में ये बात भी सामने आई है कि इन लड़कियों और महिलाओं को कड़ी निगरानी में रखा गया था और इन्हें बाहर निकलने नहीं दिया जाता था। इसी होटल के पास ब्रह्मकुमारी आश्रम भी है, जिसका रास्ता होटल का ही है। पास ही दाती महाराज का भी आश्रम है जिस पर एक लड़की ने बलात्कार का आरोप लगाया है। पुलिस दाती से पूछताछ तो करती रही है, लेकिन उसे अभी तक गिरफ्तार नहीं किया गया है।
खास बात यह है कि दाती के आश्रम में जब पुलिस तलाशी लेने गई थी तो करीब 600 लड़कियां गायब मिली थीं। उसी दाती के एक आश्रम के पास के होटल में करीब 68 लड़कियां बंधक रहीं और पुलिस को उस समय कोई खबर नहीं मिली। कुछ लोग यह भी कह रहे हैं कि ये लड़कियां दाती के पाली जिले के आलावास आश्रम की ही हैं जिन्हें पुलिस की निगाह में आने से बचाने के लिए इस होटल में बंद कर दिया गया था।
फिलहाल इन लड़कियों को बाल कल्याण समिति के सुपुर्द किया गया है, लेकिन घटना के तीन-चार दिन बाद भी अभी तक ये बात सामने नहीं आ पाई है कि ये लड़कियां कहां की थीं। जाहिर है, पुलिस को सब पता तो लग ही गया होगा, लेकिन वह ये राज सामने आने देने से रोकना चाह रही है।
इससे पहले अलवर में फलाहारी नाम के बाबा पर भी रेप का आरोप लगा था और उसे भी बचाने की काफी कोशिशें हुईं, बाद में उसे गिरफ्तार करना पड़ा। फलाहारी के भक्तों में मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे, शिवराज सिंह चौहान, रमन सिंह, राजनाथ सिंह और भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह तक शामिल रहे हैं।
राजस्थान में ऐसे कई आश्रम चल रहे हैं जिनमें बड़ी संख्या में महिलाओं और बच्चियों को रखा जाता है और किसी तरह के नियमों का पालन नहीं किया जाता। दाती के आलावास आश्रम में भी यही बात सामने आई है, लेकिन इन बाबाओं के भाजपा नेताओं से इतने गाढ़े संबंध रहते हैं कि वो नियम कानून की कोई परवाह नहीं करते। अक्सर खुद नेता, मंत्री और मुख्यमंत्री इन बाबाओं से आशीर्वाद लेने जाते रहते हैं, जिस कारण ये बाबा अपने को कानून से ऊपर समझते हैं।