प्रयागराज: अच्छे दिन का सपना दिखाकर 2014 में पूर्ण बहुमत से सत्ता में आई भाजपा को अब काले रंग से डर लगने लगा है। भाजपा और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने पिछले आम चुनाव में इतने वादे कर दिए थे कि वे अब उनपर बात भी नहीं करना चाहते। साथ ही भाजपा को लोगों के विरोध से बहुत डर लगता है। हाल ही में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की विजय संकल्प रैली के दौरान परेड मैदान में अंकित प्रधान यादव नामक किशोर ने हंगामा खड़ा कर दिया। नरेंद्र मोदी भीड़ को संबोधित कर रहे थे, इसी बीच वह काला झंडा लेकर कुर्सी पर चढ़ गया।
मोदी के खिलाफ नारेबाजी कर वह झंडा लहराने लगा तो भीड़ उस पर टूट पड़ी। गुस्साए लोगों ने उसे जमीन पर गिराकर जमकर पीटा। भाजपा कार्यकर्ता उसे घेरकर पीट रहे थे। पुलिसवाले भीड़ के बीच घुसे और किशोर को बचाते हुए उसे खींच ले गए। पुलिसकर्मियों की बदौलत वह बच गया वरना भीड़ पीट-पीटकर शायद मार ही डालती।
प्रधानमंत्री की जनसभा के दौरान सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम थे। सभा स्थल पर जाने के दौरान कई जगह चेकिंग हो रही थी। कोई काला झंडा लेकर न पहुंच जाए इसे लेकर खास निगरानी की जा रही थी। इसके बाद भी एक किशोर काला झंडा छिपाकर अंदर तक पहुंच गया। मोदी शाम छह बजकर 44 मिनट पर मंच पर पहुंचे। उन्होंने बोलना शुरू किया। मोदी कुछ देर बोले, तभी मंच के ठीक सामने अंकित प्रधान कुर्सी पर खड़ा हो गया और काला झंडा लहराने लगा। हालांकि कुछ ही सेकेंड में उसे कुर्सी से नीचे खींच लिया गया। भीड़ ने लात-घूंसों से जमकर पीटा। भीड़ उस पर टूट पड़ी।
एसपीजी और पुलिसकर्मी दौड़ पड़े। भीड़ में कूदकर पुलिसवालों ने अंकित को बचाया और उसे सबसे बचाते हुए खींचकर रैली स्थल से बाहर ले गए। हालंाकि चलते चलते वह बयानबाजी करता रहा। बोला, मैं विरोध करता हूं। वह बेरोजगारी को लेकर खफा था लेकिन हांफते हुए वह बोला, युवाओं को बेरोजगार चाहिए। मैं बस विरोध करने आया था। भाजपा वालों ने मुझे बहुत पीटा।
अंकित मेजा थाना क्षेत्र के उपरोडा, सिरसा गांव निवासी राजेंद्र प्रसाद यादव का बेटा है। अंकित के पिता किसानी करते हैं। परिवार वालों का कहना है कि वह हाईस्कूल का छात्र है। उसकी उम्र 15 साल बताई जा रही है। छात्र के घरवाले किसी भी राजनीतिक दल से नहीं जुड़े हैं।
छात्र के घरवालों का कहना है कि अंकित तीन दिन पहले शहर में रहने वाली अपनी बुआ के घर गया था। पुलिस के पहुंचने पर ही उन्हें पता चला कि उसने काला झंडा दिखाया है। एसएसपी अतुल शर्मा का कहना है कि पकड़े गए अंकित से पूछताछ की जा रही है। उसके खिलाफ मुकदमा दर्ज होगा।
मोदी के खिलाफ नारेबाजी कर वह झंडा लहराने लगा तो भीड़ उस पर टूट पड़ी। गुस्साए लोगों ने उसे जमीन पर गिराकर जमकर पीटा। भाजपा कार्यकर्ता उसे घेरकर पीट रहे थे। पुलिसवाले भीड़ के बीच घुसे और किशोर को बचाते हुए उसे खींच ले गए। पुलिसकर्मियों की बदौलत वह बच गया वरना भीड़ पीट-पीटकर शायद मार ही डालती।
प्रधानमंत्री की जनसभा के दौरान सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम थे। सभा स्थल पर जाने के दौरान कई जगह चेकिंग हो रही थी। कोई काला झंडा लेकर न पहुंच जाए इसे लेकर खास निगरानी की जा रही थी। इसके बाद भी एक किशोर काला झंडा छिपाकर अंदर तक पहुंच गया। मोदी शाम छह बजकर 44 मिनट पर मंच पर पहुंचे। उन्होंने बोलना शुरू किया। मोदी कुछ देर बोले, तभी मंच के ठीक सामने अंकित प्रधान कुर्सी पर खड़ा हो गया और काला झंडा लहराने लगा। हालांकि कुछ ही सेकेंड में उसे कुर्सी से नीचे खींच लिया गया। भीड़ ने लात-घूंसों से जमकर पीटा। भीड़ उस पर टूट पड़ी।
एसपीजी और पुलिसकर्मी दौड़ पड़े। भीड़ में कूदकर पुलिसवालों ने अंकित को बचाया और उसे सबसे बचाते हुए खींचकर रैली स्थल से बाहर ले गए। हालंाकि चलते चलते वह बयानबाजी करता रहा। बोला, मैं विरोध करता हूं। वह बेरोजगारी को लेकर खफा था लेकिन हांफते हुए वह बोला, युवाओं को बेरोजगार चाहिए। मैं बस विरोध करने आया था। भाजपा वालों ने मुझे बहुत पीटा।
अंकित मेजा थाना क्षेत्र के उपरोडा, सिरसा गांव निवासी राजेंद्र प्रसाद यादव का बेटा है। अंकित के पिता किसानी करते हैं। परिवार वालों का कहना है कि वह हाईस्कूल का छात्र है। उसकी उम्र 15 साल बताई जा रही है। छात्र के घरवाले किसी भी राजनीतिक दल से नहीं जुड़े हैं।
छात्र के घरवालों का कहना है कि अंकित तीन दिन पहले शहर में रहने वाली अपनी बुआ के घर गया था। पुलिस के पहुंचने पर ही उन्हें पता चला कि उसने काला झंडा दिखाया है। एसएसपी अतुल शर्मा का कहना है कि पकड़े गए अंकित से पूछताछ की जा रही है। उसके खिलाफ मुकदमा दर्ज होगा।