पीएम केयर्स पर कांग्रेस के ये आरोप अखबारों में दिखे क्या?

Written by Sanjay Kumar Singh | Published on: July 2, 2020
आपने सुना कि राहुल गांधी फाउंडेशन को चीन ने पैसे दिए थे। मीडिया में इसका कोई जवाब भी सुनने को नहीं मिला और मैं समझ रहा था कि कांग्रेस को जवाब में कुछ नहीं कहना है। आज पता चला कि कांग्रेस ने बाकायदा जवाब दिया है और मैं टीवी तो नहीं ही देखता था अब अखबार पढ़ना भी छोड़ दिया है सो इसका पता ही नहीं चला। कल सोशल मीडिया से पता लगा कि टिकटॉक ने पीएम केयर्स को 30 करोड़ रुपए दिए हैं। जी हां, लाख नहीं करोड़ में।



इसपर कांग्रेस नेता पी चिदंबरम ने ट्वीट किया है, पीएम-केयर्स फंड 28 मार्च 2020 को बना था। चीनी स्वामित्व वाली कंपनियों ने उस तिथि के बाद ही धन दान दिया होगा। इससे पहले चीनी सैनिकों ने मार्च-अप्रैल 2020 में लद्दाख में घुसपैठ शुरू कर दी थी। क्या चीन की मंशा को समझने के लिए बहुद ज्यादा बुद्धिमानी की आवश्यकता है? एक और ट्वीट में चिदंबरम ने लिखा है, 2005 में भारत-चीन संबंध अच्छे थे और उन्हें सुधारने के प्रयास किए जा रहे थे। यदि 2005 में एक दान गलत था, तो 2013-17 के बाद दान स्वीकार करना कितना गलत है?

कांग्रेस प्रवक्ता अभिषेक मनु सिंघवी ने आरोप लगाया कि पीएम केयर्स फंड में 9678 करोड़ रुपये आए हैं जो चीन से जुड़े है। इनमें सात करोड़ रुपये हुवई ने दिए हैं जो चीनी सेना पीएलए से सम्बंधित है। टिक-टॉक ने 30 करोड़ रुपए दिए ही हैं। पेटीएम ने 100 करोड़ रुपये दिए हैं। जिओमी से 15 करोड़ और ओप्पो से एक करोड़ रुपये मिलने की सूचना है। मैं अखबार नहीं पढ़ता हूं इसलिए मुझे यह खबर नहीं मिली। आपको मिली तो अपने अखबार का नाम बताइए मैं भी शुरू करूं। एनडीटीवी के वेबसाइट पर मुझे यह खबर 29 मई की बताई जा रही है।

पीएम केयर्स में चीनी पैसे के का जिक्र करते हुए सिंघवी ने कहा कि सरकार और प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने सिद्ध कर दिया है कि चीन का आघात उनके लिए महत्वपूर्ण नहीं है। चीन ने हमारी कितनी जमीन और पोस्ट ली है यह भी उनके लिए मायने नहीं रखते। उनके लिए दो ही चीजें मायने रखती हैं एक खुद उनका अपना व्यक्तित्व और दूसरा राजीव गांधी फाउंडेशन। यह भी पूछा गया कि पीएम राहत कोष के रहते पीएम-केयर्स नाम का नया ट्रस्ट क्यों बनाया गया। मैंने लिखा था कि 3100 करोड़ ही खर्चने थे तो इतने पैसे पीएम राहत कोष में थे। जाहिर है पीएम केयर्स की मंशा कुछ और है।

सिंघवी ने राजनाथ सिंह, नितिन गडकरी और अमित शाह के चीनी कम्यूनिस्ट पार्टी के न्यौते पर चीन जाने से लेकर पीएम मोदी की नौ बार चीन यात्रा और छह साल में चीनी राष्ट्रपति जिनपिंग से 18 मुलाकातों को इसका सबूत बताया।

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