तमिलनाडु: पुडुकोट्टई में मंदिर उत्सव के दौरान हिंसक झड़प, दलित परिवार की झोपड़ी में आग, 14 गिरफ्तार

Written by sabrang india | Published on: May 7, 2025
मुथुमरियम्मन मंदिर उत्सव के दौरान एमबीसी और एससी समुदायों के बीच झड़प और आगजनी के बाद पुलिस ने आरोपियों को गिरफ्तार किया है।



तमिलनाडु के पुडुकोट्टई जिले के आलनगुडी के पास वडकाडु गांव में सोमवार, 5 मई की रात मुथुमरियम्मन मंदिर उत्सव के दौरान अत्यंत पिछड़ा वर्ग (एमबीसी) और अनुसूचित जाति (एससी) समुदायों के युवाओं के बीच हिंसक झड़प हुई।

द मूकनायक ने पुलिस के हवाले से लिखा है कि यह विवाद गांव के पेट्रोल पंप पर कथित रूप से नशे में धुत युवाओं के बीच बहस से शुरू हुआ था। बाद में यह विवाद एक आवासीय क्षेत्र में दोबारा भड़क उठा, जिससे दोनों पक्षों के बीच मारपीट हुई और कई लोग घायल हो गए।

हिंसा के दौरान अज्ञात लोगों ने एक दलित परिवार की झोपड़ी और एक बाइक को आग के हवाले कर दिया। इस घटना का वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो गया है। इसके अलावा, एक सरकारी बस की खिड़की के क्षतिग्रस्त होने की भी सूचना है।

दोनों समुदायों के 14 लोगों को हिंसा के मामले में आलनगुडी पुलिस ने गिरफ्तार किया है। घायलों का इलाज आलनगुडी सरकारी अस्पताल में चल रहा है।

तमिलनाडु के कानून मंत्री एस. रेगुपति और पुडुकोट्टई के पुलिस अधीक्षक अभिषेक गुप्ता ने घटनास्थल का दौरा किया। फिलहाल, इलाके में कानून व्यवस्था बनाए रखने के लिए भारी पुलिस बल तैनात किया गया है।

मंगलवार, 6 मई को जारी एक प्रेस विज्ञप्ति में पुडुकोट्टई पुलिस ने बताया कि यह झगड़ा नशे में धुत युवाओं के बीच कहासुनी से शुरू हुआ था। पुलिस ने यह भी कहा कि घटना को लेकर सोशल मीडिया पर भ्रामक जानकारियां फैलाई जा रही हैं, जिस पर सख्त कार्रवाई की चेतावनी दी गई है। पुलिस मामले की जांच कर रही है।

दलितों के खिलाफ हिंसा थमने का नाम नहीं ले रही है। हाल ही में 35 वर्षीय राजेश का शव खेतों में मृत पाया गया, जहां वे काम करते थे। परिवार द्वारा आत्महत्या की संभावना से इनकार किए जाने के बाद पुलिस जांच कर रही है। राजेश तीन बच्चों के पिता थे।

रिपोर्ट के अनुसार, राजेश सुबह करीब 2 बजे खेतों में ट्यूबवेल चलाने गए थे। बाद में सुबह, खेतों की ओर जा रहे ग्रामीणों ने उनका शव एक पेड़ से लटका हुआ देखा और तुरंत पुलिस को सूचना दी।

उधर, पिछले महीने की शुरुआत में आजमगढ़ के तरवा थाने में रविवार रात पुलिस हिरासत में 20 वर्षीय दलित युवक सनी कुमार की मौत के बाद उसके परिवार और स्थानीय लोगों ने विरोध प्रदर्शन किया था। प्रदर्शन तब और उग्र हो गया जब प्रदर्शनकारियों ने पुलिस वाहन में तोड़फोड़ की और थाने के बाहर सड़क जाम कर दी।

द ऑब्जर्वर पोस्ट की रिपोर्ट के अनुसार, हरिकांत के बेटे सनी कुमार को एक नाबालिग लड़की द्वारा दर्ज यौन उत्पीड़न की शिकायत के बाद रविवार को पुलिस हिरासत में लिया गया था। शिकायत में आरोप लगाया गया था कि 28 मार्च को जब लड़की वहां से गुजर रही थी, तब कुमार ने अश्लील इशारे किए और अपने फोन पर अश्लील गाने बजाए। देर रात, एक पुलिस गार्ड ने कथित रूप से कुमार को थाने के बाथरूम में अपने पायजामे की डोरी से लटका हुआ पाया।

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