मध्यप्रदेश में बलात्कारों की संख्या लगातार बढ़ने का एक कारण यह भी माना जाता है कि यहां पुलिस बलात्कारियों का ही साथ देती है, और अक्सर पीड़िताओं पर समझौता करने का दबाव डालने लगती है।
ऐसा ही हो रहा है श्योपुर जिले में, जहाँ विजयपुर थाने की पुलिस एक बलात्कार पीड़िता की रिपोर्ट नहीं लिख रही है और आरोपी से समझौता कर लेने का उस पर दबाव डला रही है।
नईदुनिया की खबर के अनुसार, पीड़ित महिला के साथ 4 अगस्त को राजेश रावत नाम के दबंग ने बलात्कार किया था। उसे डायल 100 की पुलिस ने पकड़ भी लिया थ, लेकिन उसे थाने से छोड़ दिया गया।
पीड़िता के पति की तीन साल पहले मौत हो चुकी है। पीड़िता अपने ससुराल में ही रहती है। 4 अगस्त को रात 12 बजे के करीब गांव का राजेश रावत उसके घर में घुस आया और पीड़िता को अकेली पाकर उसके साथ बलात्कार कर डाला और भाग गया।
पीड़िता ने आरोपी के जाते ही डायल 100 को फोन करके पुलिस बुलवाई और पुलिस ने राजेसश रावत को पकड़ भी लिया, लेकिन महिला की रिपोर्ट थाने में नहीं लिखी गई और आरोपी को भी थाने से भगा दिया।
तभी से पीड़िता अपने पिता के साथ विजयपुर थाने के चक्कर लगाती रही लेकिन उसकी रिपोर्ट नहीं लिखी गई। इसके बाद उसने जिला मुख्यालय पर जाकर एसपी ऑफिस में गुहार लगाई है।
ऐसा ही हो रहा है श्योपुर जिले में, जहाँ विजयपुर थाने की पुलिस एक बलात्कार पीड़िता की रिपोर्ट नहीं लिख रही है और आरोपी से समझौता कर लेने का उस पर दबाव डला रही है।
नईदुनिया की खबर के अनुसार, पीड़ित महिला के साथ 4 अगस्त को राजेश रावत नाम के दबंग ने बलात्कार किया था। उसे डायल 100 की पुलिस ने पकड़ भी लिया थ, लेकिन उसे थाने से छोड़ दिया गया।
पीड़िता के पति की तीन साल पहले मौत हो चुकी है। पीड़िता अपने ससुराल में ही रहती है। 4 अगस्त को रात 12 बजे के करीब गांव का राजेश रावत उसके घर में घुस आया और पीड़िता को अकेली पाकर उसके साथ बलात्कार कर डाला और भाग गया।
पीड़िता ने आरोपी के जाते ही डायल 100 को फोन करके पुलिस बुलवाई और पुलिस ने राजेसश रावत को पकड़ भी लिया, लेकिन महिला की रिपोर्ट थाने में नहीं लिखी गई और आरोपी को भी थाने से भगा दिया।
तभी से पीड़िता अपने पिता के साथ विजयपुर थाने के चक्कर लगाती रही लेकिन उसकी रिपोर्ट नहीं लिखी गई। इसके बाद उसने जिला मुख्यालय पर जाकर एसपी ऑफिस में गुहार लगाई है।