आखिरकार अपनी पुत्रीतुल्य लड़की से बलात्कार करने के जुर्म में अलवर के फलाहारी बाबा उर्फ संत कौशलेंद्र महाराज को अदालत ने आजीवन कारावास की सजा सुना दी है।
आइए, आपको बताते हैं फलाहारी बाबा कौन था और क्या-क्या हरकतें करता था जिन्हें जानकर आप भी शर्मिंदा हो जाएंगे।
फलाहारी बाबा का असली नाम शिवपूजन मिश्र है, जो भाजपा का बेहद करीबी है और भाजपा के कई बड़े नेता उससे आशीर्वाद लेते रहते हैं। इनमें मध्यप्रदेश के सीएम शिवराज सिंह, राजस्थान की मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे, गृह मंत्री राजनाथ सिंह समेत कई बड़े नेता शामिल हैं। पीड़ित युवती के परिजन इस दुराचारी बाबा के शिष्य थे।
युवती जयपुर में रह कर कानून की पढ़ाई कर रही थी। बाबा ने उसे सुप्रीम कोर्ट के एक वकील के पास इंटर्नशिप की थी। इंटर्नशिप पूरी करने के बाद वह अपने पहले मानदेय को बाबा के आश्रम में दान करने आई थी, लेकिन बाबा ने उसे वहीं रोक लिया। उसे हाई कोर्ट का जज बनाने का प्रलोभन भी दिया।
पीड़ित युवती जब बाबा के कमरे में पहुंची, तो शिष्यों को बाबा ने पूजा पाठ के लिए बहार भेज दिया और लड़की के साथ बलात्कार किया।
रेप केस में राम रहीम के जेल जाने के बाद पीड़िता के अंदर हिम्मत आई। उसने हिम्मत जुटाकर फलाहारी बाबा को सबक सिखाने की ठान ली और थाने जाकर केस दर्ज कराया।
साढ़े आठ महीने की सुनवाई के बाद अदालत ने फलाहारी को बलात्कार का दोषी पाया और उसे आजीवन कारावास तथा एक लाख रुपए जुर्माने की सजा सुना दी।
आइए, आपको बताते हैं फलाहारी बाबा कौन था और क्या-क्या हरकतें करता था जिन्हें जानकर आप भी शर्मिंदा हो जाएंगे।
फलाहारी बाबा का असली नाम शिवपूजन मिश्र है, जो भाजपा का बेहद करीबी है और भाजपा के कई बड़े नेता उससे आशीर्वाद लेते रहते हैं। इनमें मध्यप्रदेश के सीएम शिवराज सिंह, राजस्थान की मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे, गृह मंत्री राजनाथ सिंह समेत कई बड़े नेता शामिल हैं। पीड़ित युवती के परिजन इस दुराचारी बाबा के शिष्य थे।
युवती जयपुर में रह कर कानून की पढ़ाई कर रही थी। बाबा ने उसे सुप्रीम कोर्ट के एक वकील के पास इंटर्नशिप की थी। इंटर्नशिप पूरी करने के बाद वह अपने पहले मानदेय को बाबा के आश्रम में दान करने आई थी, लेकिन बाबा ने उसे वहीं रोक लिया। उसे हाई कोर्ट का जज बनाने का प्रलोभन भी दिया।
पीड़ित युवती जब बाबा के कमरे में पहुंची, तो शिष्यों को बाबा ने पूजा पाठ के लिए बहार भेज दिया और लड़की के साथ बलात्कार किया।
रेप केस में राम रहीम के जेल जाने के बाद पीड़िता के अंदर हिम्मत आई। उसने हिम्मत जुटाकर फलाहारी बाबा को सबक सिखाने की ठान ली और थाने जाकर केस दर्ज कराया।
साढ़े आठ महीने की सुनवाई के बाद अदालत ने फलाहारी को बलात्कार का दोषी पाया और उसे आजीवन कारावास तथा एक लाख रुपए जुर्माने की सजा सुना दी।