सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर ‘प्राचीन’ मंदिर की तस्वीरें वायरल होने के बाद बड़ी संख्या में दक्षिणपंथी संगठन के कार्यकर्ता मौके पर पहुंचे और मांग की कि मंदिर का ताला तुरंत खोला जाए ताकि वे वहां ‘पूजा’ कर सकें।
उत्तर प्रदेश के संभल में एक ‘प्राचीन’ मंदिर मिलने के कुछ दिनों बाद वाराणसी के एक मुस्लिम बहुल इलाके में एक और ‘प्राचीन’ मंदिर मिलने की बात सामने आई है।
डकन हेराल्ड की रिपोर्ट के अनुसार, प्रशासन ने एहतियात के तौर पर मंदिर के पास पीएसी जवानों और पुलिस कांस्टेबलों की एक टीम तैनात की है। वाराणसी में एक अधिकारी ने कहा, ''हम स्थिति पर नज़र रख रहे हैं।'' रिपोर्ट में कहा गया है कि जिस घर में मंदिर स्थित था, उसे कई दशक पहले एक मुस्लिम व्यवसायी को बेच दिया गया था।
हालांकि दक्षिणपंथी संगठन के कार्यकर्ताओं ने इसे तुरंत खोलने की मांग की, लेकिन सूत्रों ने कहा कि प्रशासन स्थिति का आकलन कर रहा है और अगले कुछ दिनों में इस संबंध में निर्णय लिया जाएगा। कुछ दिन पहले ही संभल के मुस्लिम बहुल इलाके में एक ‘प्राचीन’ मंदिर मिला था, जहां कोर्ट द्वारा मस्जिद के सर्वेक्षण के दौरान हुई हिंसा में चार लोग मारे गए थे।
अमर उजाला की रिपोर्ट के अनुसार, मुहल्ले के मुस्लिम समुदाय के लोगों ने कहा कि यहां वर्षों से मंदिर है। उस पर ताला बंद है। मंदिर में पूजा पाठ से हमें कोई समस्या नहीं है, लेकिन बाहरी लोगों को यहां भला क्या काम है।
मंदिर से सटा घर साड़ी व्यापारी सहाबुद्दीन का है। शहाबुद्दीन ने बताया कि मकान एक बंगाली परिवार से उनके पुरखों ने खरीदा था। तभी से मंदिर भी है और वह हमेशा बंद ही रहा है। उसमें किसी देवी-देवता की मूर्ति नहीं है। शहाबुद्दीन ने कहा कि जो जैसा है उसे वैसा ही रहने दिया जाए तो दिक्कत क्या है। मुहल्ले का ताना-बाना बना रहे। यहां हिंदू-मुस्लिम सभी व्यापार कर अपने घर के लिए रोजी रोटी की व्यवस्था करते हैं। अमन और लोगों की रोजी रोटी जरूरी है, उसमें किसी तरह का व्यवधान न पड़ने दिया जाए।
वाराणसी में एक बंद मंदिर की सूचना के बाद तनाव की स्थिति पैदा हो गई है। मुस्लिम समुदाय के लोगों ने इलाके में दुकानें बंद करा दी हैं। भारी पुलिस बल तैनात है। डीसीपी काशी गौरव बंशवाल ने बताया कि अभी मंदिर का ताला खोलने जैसी कोई बात नहीं है। दोनों पक्षों में समझौते का प्रयास किया जा रहा है।
मुस्लिम बहुल मदनपुरा की घनी बस्ती में बंद पड़े मंदिर की सूचना के बाद अब वाराणसी में एक बार तनाव की स्थिति पैदा हो गई है। आक्रोशित मुस्लिम समुदाय के लोगों ने इलाके में दुकानें बंद करा दी हैं। इस दौरान इलाके में भारी पुलिस बल तैनात है। मौके पर एहतियातन पुलिस व पीएसी के जवान तैनात किए गए हैं।
बता दें सोमवार को मंदिर की सूचना के बाद पुलिस और प्रशासन हरकरत में आया। एसीपी कोतवाली ने पुलिस बल के साथ पहुंचकर निरीक्षण किया। मंदिर पर काफी पुराना ताला लगा है।
मदनपुरा में मंदिर को लेकर विवाद और बाजार बंद कराने की जानकारी होने के बाद डीसीपी काशी गौरव बंशवाल भारी फोर्स के साथ मौके पर पहुंचे। उन्होंने बताया कि अभी मंदिर का ताला खोलने जैसी कोई बात नहीं है। मौके पर शांति व्यवस्था बनाए रखने के लिए दोनों पक्षों को समझाया जा रहा है।
उत्तर प्रदेश के संभल में एक ‘प्राचीन’ मंदिर मिलने के कुछ दिनों बाद वाराणसी के एक मुस्लिम बहुल इलाके में एक और ‘प्राचीन’ मंदिर मिलने की बात सामने आई है।
डकन हेराल्ड की रिपोर्ट के अनुसार, प्रशासन ने एहतियात के तौर पर मंदिर के पास पीएसी जवानों और पुलिस कांस्टेबलों की एक टीम तैनात की है। वाराणसी में एक अधिकारी ने कहा, ''हम स्थिति पर नज़र रख रहे हैं।'' रिपोर्ट में कहा गया है कि जिस घर में मंदिर स्थित था, उसे कई दशक पहले एक मुस्लिम व्यवसायी को बेच दिया गया था।
हालांकि दक्षिणपंथी संगठन के कार्यकर्ताओं ने इसे तुरंत खोलने की मांग की, लेकिन सूत्रों ने कहा कि प्रशासन स्थिति का आकलन कर रहा है और अगले कुछ दिनों में इस संबंध में निर्णय लिया जाएगा। कुछ दिन पहले ही संभल के मुस्लिम बहुल इलाके में एक ‘प्राचीन’ मंदिर मिला था, जहां कोर्ट द्वारा मस्जिद के सर्वेक्षण के दौरान हुई हिंसा में चार लोग मारे गए थे।
अमर उजाला की रिपोर्ट के अनुसार, मुहल्ले के मुस्लिम समुदाय के लोगों ने कहा कि यहां वर्षों से मंदिर है। उस पर ताला बंद है। मंदिर में पूजा पाठ से हमें कोई समस्या नहीं है, लेकिन बाहरी लोगों को यहां भला क्या काम है।
मंदिर से सटा घर साड़ी व्यापारी सहाबुद्दीन का है। शहाबुद्दीन ने बताया कि मकान एक बंगाली परिवार से उनके पुरखों ने खरीदा था। तभी से मंदिर भी है और वह हमेशा बंद ही रहा है। उसमें किसी देवी-देवता की मूर्ति नहीं है। शहाबुद्दीन ने कहा कि जो जैसा है उसे वैसा ही रहने दिया जाए तो दिक्कत क्या है। मुहल्ले का ताना-बाना बना रहे। यहां हिंदू-मुस्लिम सभी व्यापार कर अपने घर के लिए रोजी रोटी की व्यवस्था करते हैं। अमन और लोगों की रोजी रोटी जरूरी है, उसमें किसी तरह का व्यवधान न पड़ने दिया जाए।
वाराणसी में एक बंद मंदिर की सूचना के बाद तनाव की स्थिति पैदा हो गई है। मुस्लिम समुदाय के लोगों ने इलाके में दुकानें बंद करा दी हैं। भारी पुलिस बल तैनात है। डीसीपी काशी गौरव बंशवाल ने बताया कि अभी मंदिर का ताला खोलने जैसी कोई बात नहीं है। दोनों पक्षों में समझौते का प्रयास किया जा रहा है।
मुस्लिम बहुल मदनपुरा की घनी बस्ती में बंद पड़े मंदिर की सूचना के बाद अब वाराणसी में एक बार तनाव की स्थिति पैदा हो गई है। आक्रोशित मुस्लिम समुदाय के लोगों ने इलाके में दुकानें बंद करा दी हैं। इस दौरान इलाके में भारी पुलिस बल तैनात है। मौके पर एहतियातन पुलिस व पीएसी के जवान तैनात किए गए हैं।
बता दें सोमवार को मंदिर की सूचना के बाद पुलिस और प्रशासन हरकरत में आया। एसीपी कोतवाली ने पुलिस बल के साथ पहुंचकर निरीक्षण किया। मंदिर पर काफी पुराना ताला लगा है।
मदनपुरा में मंदिर को लेकर विवाद और बाजार बंद कराने की जानकारी होने के बाद डीसीपी काशी गौरव बंशवाल भारी फोर्स के साथ मौके पर पहुंचे। उन्होंने बताया कि अभी मंदिर का ताला खोलने जैसी कोई बात नहीं है। मौके पर शांति व्यवस्था बनाए रखने के लिए दोनों पक्षों को समझाया जा रहा है।