लखनऊ। नागरिकता संशोधन कानून (सीएए) और राष्ट्रीय नागरिकता रजिस्टर (एनआरसी) के विरोध में प्रदर्शन कर रही महिलाएं बीजेपी के गले की फांस बन चुकी हैं। इस बीच बीजेपी नेता बुरी तरह हड़बड़ाए हुए हैं और भाषाई तौर पर घटियापन पर उतर आए हैं। प्रदर्शनकारी महिलाओं को बिकाऊ वगैराह बोलकर वे पार्टी के चाल चरित्र और चेहरे का प्रदर्शन सरेआम कर रहे हैं। यूपी सीएम योगी आदित्यनाथ के बाद अब बीजेपी नेता शिया वक्फ बोर्ड के चेयरमैन वसीम रिजवी भी शामिल हो गए हैं।
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वसीम रिजवी ने बुधवार को टिप्पणी की थी कि यह महिलाएं भोली-भाली नहीं हैं। उन्होंने महिलाओं पर पैसे लेकर प्रदर्शन का आरोप भी लगाया था। इसके बाद बुधवार देर रात धरने में शामिल एक्टिविस्ट सैयद जरीन ने हजरतगंज कोतवाली में वसीम रिजवी के खिलाफ तहरीर दी, वहीं गुरुवार सुबह वसीम रिजवी की ओर से भी सैयद जरीन के खिलाफ तहरीर दी गई जिसमें उन्हें धमकाने का आरोप था।
टीवी डिबेट के दौरान अपशब्दों का प्रयोग करने के बाद ही रिजवी नहीं रुके, उन्होंने एक और वीडियो के जरिए प्रदर्शनकारी महिलाओं के लिए अपशब्दों का प्रयोग किया।
रिजवी ने कहा कि महिलाएं सपा व कांग्रेस की राजनीति का शिकार हो रही हैं। सपा व कांग्रेस इस तरह के प्रदर्शन से बताना चाहती हैं कि भाजपा सरकार में मुस्लिम महिलाएं सुरक्षित नहीं हैं। वसीम रिजवी ने कहा कि प्रदर्शन करने वाली महिलाएं जानती हैं कि सीएए और एनआरसी से उन्हें कोई दिक्कत नहीं है। उन्होंने महिलाओं पर पैसे लेकर प्रदर्शन करने का आरोप भी लगाया।
बता दें कि सीएए, एनपीआर और एनआरसी के विरोध में सिर्फ मुस्लिम ही शामिल नहीं हैं बल्कि बड़ी तादाद में हिंदू व सिख भी हैं। शाहीन बाग में महिलाएं एक महीने से ज्यादा समय से आंदोलनरत हैं। बीजेपी उन्हें हर हाल में हटाने की तिकड़म लगा रही है। लेकिन यह विरोध प्रदर्शन और भी व्यापक होता जा रहा है। ऐसे में इन महिलाओं के खिलाफ पैसे लेकर प्रदर्शन करने का प्रोपोगैंडा चलाया जाना प्रतीत हो रहा है।
वहीं, बीजेपी नेताओं की बदजुबानी की बात करें तो ऊपर से लेकर नीचे तक तमाम बद्जुबानी पार्टी की पसंद रहे हैं। वसीम रिजवी भी उन्हीं में से एक हैं जो आए दिन अपनी बद्जुबानी व अनर्गल बयानों के चलते सुर्खियों में रहते हैं।
वसीम रिजवी ने इससे पहले सोमवार को जनसंख्या नियंत्रण कानून को लेकर भी मुस्लिमों के प्रति जहर उगला था। रिजवी ने मीडिया से बातचीत में कहा, कुछ लोगों का मानना है कि बच्चों का जन्म एक प्राकृतिक प्रक्रिया है और वे जानवरों की तरह बच्चे पैदा करते हैं। रिजवी के इस बयान के इतर सच्चाई कुछ और ही है।
हमें अक़सर ऐसा सुनने को मिलता है कि भारत में मुस्लिम तेज़ी से आबादी बढ़ा रहे हैं जिससे हिन्दुओं को ख़तरा है। सोशल मीडिया पर ये “तथ्य” बहुत ज़ोर-शोर से फैलाया जाता है। *वाट्सअप पर मैसेज फैलाये जाते हैं कि भारत में मुस्लिम बहुत तेज़ी से अपनी जनसंख्या बढ़ा रहे हैं और ऐसा ही रहा तो भारत 2050 तक मुस्लिम बहुल राष्ट्र बन जायेगा। (हालाँकि कुछ समय पहले तक ये 2040 तक होने वाला था।)।*
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वसीम रिजवी ने बुधवार को टिप्पणी की थी कि यह महिलाएं भोली-भाली नहीं हैं। उन्होंने महिलाओं पर पैसे लेकर प्रदर्शन का आरोप भी लगाया था। इसके बाद बुधवार देर रात धरने में शामिल एक्टिविस्ट सैयद जरीन ने हजरतगंज कोतवाली में वसीम रिजवी के खिलाफ तहरीर दी, वहीं गुरुवार सुबह वसीम रिजवी की ओर से भी सैयद जरीन के खिलाफ तहरीर दी गई जिसमें उन्हें धमकाने का आरोप था।
टीवी डिबेट के दौरान अपशब्दों का प्रयोग करने के बाद ही रिजवी नहीं रुके, उन्होंने एक और वीडियो के जरिए प्रदर्शनकारी महिलाओं के लिए अपशब्दों का प्रयोग किया।
रिजवी ने कहा कि महिलाएं सपा व कांग्रेस की राजनीति का शिकार हो रही हैं। सपा व कांग्रेस इस तरह के प्रदर्शन से बताना चाहती हैं कि भाजपा सरकार में मुस्लिम महिलाएं सुरक्षित नहीं हैं। वसीम रिजवी ने कहा कि प्रदर्शन करने वाली महिलाएं जानती हैं कि सीएए और एनआरसी से उन्हें कोई दिक्कत नहीं है। उन्होंने महिलाओं पर पैसे लेकर प्रदर्शन करने का आरोप भी लगाया।
बता दें कि सीएए, एनपीआर और एनआरसी के विरोध में सिर्फ मुस्लिम ही शामिल नहीं हैं बल्कि बड़ी तादाद में हिंदू व सिख भी हैं। शाहीन बाग में महिलाएं एक महीने से ज्यादा समय से आंदोलनरत हैं। बीजेपी उन्हें हर हाल में हटाने की तिकड़म लगा रही है। लेकिन यह विरोध प्रदर्शन और भी व्यापक होता जा रहा है। ऐसे में इन महिलाओं के खिलाफ पैसे लेकर प्रदर्शन करने का प्रोपोगैंडा चलाया जाना प्रतीत हो रहा है।
वहीं, बीजेपी नेताओं की बदजुबानी की बात करें तो ऊपर से लेकर नीचे तक तमाम बद्जुबानी पार्टी की पसंद रहे हैं। वसीम रिजवी भी उन्हीं में से एक हैं जो आए दिन अपनी बद्जुबानी व अनर्गल बयानों के चलते सुर्खियों में रहते हैं।
वसीम रिजवी ने इससे पहले सोमवार को जनसंख्या नियंत्रण कानून को लेकर भी मुस्लिमों के प्रति जहर उगला था। रिजवी ने मीडिया से बातचीत में कहा, कुछ लोगों का मानना है कि बच्चों का जन्म एक प्राकृतिक प्रक्रिया है और वे जानवरों की तरह बच्चे पैदा करते हैं। रिजवी के इस बयान के इतर सच्चाई कुछ और ही है।
हमें अक़सर ऐसा सुनने को मिलता है कि भारत में मुस्लिम तेज़ी से आबादी बढ़ा रहे हैं जिससे हिन्दुओं को ख़तरा है। सोशल मीडिया पर ये “तथ्य” बहुत ज़ोर-शोर से फैलाया जाता है। *वाट्सअप पर मैसेज फैलाये जाते हैं कि भारत में मुस्लिम बहुत तेज़ी से अपनी जनसंख्या बढ़ा रहे हैं और ऐसा ही रहा तो भारत 2050 तक मुस्लिम बहुल राष्ट्र बन जायेगा। (हालाँकि कुछ समय पहले तक ये 2040 तक होने वाला था।)।*