अक्टूबर 2015 में बिहार विधानसभा चुनाव होने के 18 महीनों के बाद भी, राज्य अभी भी चुनाव अभियान के दौरान प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा घोषित 1.25 लाख करोड़ रुपये की राशि का इंतजार कर रहा है।
मुंबई के RTI कार्यकर्ता अनिल गलगली ने दिसंबर 2016 में केंद्रीय वित्त मंत्रालय के साथ विभिन्न राज्यों में भारी वित्तीय सहायता या विकास पैकेज पर मोदी के आश्वासन की जानकारी मांगी थी। जिसके बाद इस जानकारी का पता चला।
गगलानी ने वित्तीय पैकेजों पर की गई कार्रवाई का ब्योरा भी मांगा था। जिसके बाद वित्त मंत्रालय के उप निदेशक आनंद परमार ने जानकारी के बारे पूरी तरह से उत्तर न देते हुए केवल स्थिति से अवगत् कराया।
RTI कार्यकर्ता अनिल गलगली ने प्रधानमंत्री कार्यालय से प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा जिन राज्यों को पैकेज देने की घोषणा की गई थी उसकी कार्यपूर्ति की जानकारी 9 दिसंबर 2016 को मांगी थी। अनिल गलगली के आवेदन को सीधा जबाब नहीं दिया गया।
केंद्रीय वित्त मंत्रालय के उप निदेशक आनंद परमार ने अनिल गलगली को सूचित किया कि दिनांक 18 अगस्त 2015 को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बिहार के लिए 1,25,003 करोड़ का विशेष पैकेज घोषित किया था। इसे राज्य के विकास हेतू पैकेज के अंतर्गत घोषित किए गए प्रोजेक्ट/कार्यों को चरणबद्ध तरीके से कार्यान्वित किया जाना हैं।
इसके अलावा अनिल गगलानी ने जानकारी दी की जम्मू एवं कश्मीर के लिए 7 नवंबर 2015 को 80,068 करोड़ का पैकेज घोषित किया गया था। बाढ़ उपरांत राहत कार्य, दीर्घकालिक पुनर्वास एवं राज्य के विकास हेतू का प्रयोजन बताया हैं। यानी बिहार को एक कौड़ी भी नहीं दी गई हैं जो घोषणा के विपरित होने पर उन्होंने ने खेद जताया।
उन्होंने आगे बताया कि इसके विपरित सिक्कीम ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से 15 जून 2016 को अनुरोध किया हैं कि 43,589 करोड़ की आर्थिक सहायता मांगी हैं जिसपर आजतक प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने विचार तक नहीं किया हैं।
Courtesy: Janta Ka Reporter
मुंबई के RTI कार्यकर्ता अनिल गलगली ने दिसंबर 2016 में केंद्रीय वित्त मंत्रालय के साथ विभिन्न राज्यों में भारी वित्तीय सहायता या विकास पैकेज पर मोदी के आश्वासन की जानकारी मांगी थी। जिसके बाद इस जानकारी का पता चला।
गगलानी ने वित्तीय पैकेजों पर की गई कार्रवाई का ब्योरा भी मांगा था। जिसके बाद वित्त मंत्रालय के उप निदेशक आनंद परमार ने जानकारी के बारे पूरी तरह से उत्तर न देते हुए केवल स्थिति से अवगत् कराया।
RTI कार्यकर्ता अनिल गलगली ने प्रधानमंत्री कार्यालय से प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा जिन राज्यों को पैकेज देने की घोषणा की गई थी उसकी कार्यपूर्ति की जानकारी 9 दिसंबर 2016 को मांगी थी। अनिल गलगली के आवेदन को सीधा जबाब नहीं दिया गया।
उन्होंने आगे बताया कि इसके विपरित सिक्कीम ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से 15 जून 2016 को अनुरोध किया हैं कि 43,589 करोड़ की आर्थिक सहायता मांगी हैं जिसपर आजतक प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने विचार तक नहीं किया हैं।
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