बड़ी संख्या में छात्र कार्यक्रम में शामिल होने आए थे लेकिन यूनिवर्सिटी के गार्ड्स ने छात्रों को इसमें शामिल होने से रोक दिया। आरोप है कि छात्रों के साथ बदसलूकी और मारपीट की गई।
प्रतीकात्मक तस्वीर ; साभार : टीओआई
बीएचयू की आर्ट्स फैकल्टी में भगत सिंह स्टूडेंट्स मोर्चा की बनारस यूनिट द्वारा गत 25 दिसंबर को मनुस्मृति दिवस पर चर्चा का आयोजन किया गया। इस दौरान बड़ी संख्या में छात्र कार्यक्रम में शामिल होने आए थे लेकिन यूनिवर्सिटी के गार्ड्स ने छात्रों को इसमें शामिल होने से रोक दिया। आरोप है कि छात्रों के साथ बदसलूकी और मारपीट की गई।
भगत सिंह स्टूडेंट्स मोर्टा की बनारस यूनिट के अध्यक्ष आकांक्षा आजाद ने प्रेस विज्ञप्ति जारी कर कहा कि" यह ऐतिहासिक दिवस का महत्व इस रूप में है कि बाबासाहेब अंबेडकर ने 1927 को इसी दिन मनुस्मृति जलाई थी और इसी विषय पर भगतसिंह स्टूडेंट्स मोर्चा के साथी चर्चा करने के लिए जुटे हुए थे।"
उन्होंने आगे कहा कि "चर्चा के दौरान BHU प्रॉक्टोरियल बोर्ड के गार्ड्स आकर स्टूडेंट्स से बदतमीजी करने लगे और उन्हें घसीटकर प्रॉक्टोरियल बोर्ड ऑफिस में शाम 7: 30 बजे के आसपास डिटेन करके बंद कर दिया। इस दौरान स्टूडेंट्स को चोटें आई, स्टूडेंट्स के कपड़े फाड़े गए और उनके चश्मे तोड़ दिए है।"
"अन्य स्टूडेंट्स उनकी मदद के लिए जब प्रॉक्टोरियल बोर्ड पर जुटने लगे तो उन्हें भी धक्का मुक्की और मारपीट करते हुए डिटेन कर लिया गया है और इसके बाद BHU के गार्ड्स और वाराणसी पुलिस, दोनों के द्वारा स्टूडेंट्स को तरह- तरह की धमकी दी गई जिसमें भविष्य खराब देने और देख लेने की धमकी भी शामिल है। फिर जबरदस्ती पुलिस वैन में भरकर सभी स्टूडेंट्स को मारपीट करते हुए पुलिस लेकर चली गई है जिसमें तीन लड़कियां भी शामिल हैं।"
आजाद ने कहा कि "पुलिस की यह करवाई गैरकानूनी और आपत्तिजनक है। शाम के बाद लड़कियों को पुलिस द्वारा डिटेन करना कानून का उल्लंघन और शक्ति का दुरुपयोग है। लंका थाने की पुलिस द्वारा लगातार यही कहा जा रहा कि 'मामला ऊपर से डील हो रहा' यानी खुले रूप में भाजपा आरएसएस -एबीवीपी जैसे मनुवादी -फासीवादी लोग शामिल है। हमें स्टूडेंट्स की कोई सूचना नहीं दी जा रही और वकील को भी उनसे मिलने नहीं दिया जा रहा। इसलिए हमें आशंका है कि उनपर गंभीर धाराओं में FIR दर्ज करके उन्हें गिरफ्तार करके जेल भेज दिया जाएगा।"
प्रेस विज्ञप्ति में आगे कहा गया कि "भगतसिंह स्टूडेंट्स मोर्चा फासिस्ट राज्य की मनुवादी पुलिस द्वारा की गई गैरकानूनी करवाई पर आक्रोश व्यक्त करता है साथ ही तमाम प्रगतिशील ताकतों को इसके खिलाफ एकजुट होने की अपील करता है।"
प्रतीकात्मक तस्वीर ; साभार : टीओआई
बीएचयू की आर्ट्स फैकल्टी में भगत सिंह स्टूडेंट्स मोर्चा की बनारस यूनिट द्वारा गत 25 दिसंबर को मनुस्मृति दिवस पर चर्चा का आयोजन किया गया। इस दौरान बड़ी संख्या में छात्र कार्यक्रम में शामिल होने आए थे लेकिन यूनिवर्सिटी के गार्ड्स ने छात्रों को इसमें शामिल होने से रोक दिया। आरोप है कि छात्रों के साथ बदसलूकी और मारपीट की गई।
भगत सिंह स्टूडेंट्स मोर्टा की बनारस यूनिट के अध्यक्ष आकांक्षा आजाद ने प्रेस विज्ञप्ति जारी कर कहा कि" यह ऐतिहासिक दिवस का महत्व इस रूप में है कि बाबासाहेब अंबेडकर ने 1927 को इसी दिन मनुस्मृति जलाई थी और इसी विषय पर भगतसिंह स्टूडेंट्स मोर्चा के साथी चर्चा करने के लिए जुटे हुए थे।"
उन्होंने आगे कहा कि "चर्चा के दौरान BHU प्रॉक्टोरियल बोर्ड के गार्ड्स आकर स्टूडेंट्स से बदतमीजी करने लगे और उन्हें घसीटकर प्रॉक्टोरियल बोर्ड ऑफिस में शाम 7: 30 बजे के आसपास डिटेन करके बंद कर दिया। इस दौरान स्टूडेंट्स को चोटें आई, स्टूडेंट्स के कपड़े फाड़े गए और उनके चश्मे तोड़ दिए है।"
"अन्य स्टूडेंट्स उनकी मदद के लिए जब प्रॉक्टोरियल बोर्ड पर जुटने लगे तो उन्हें भी धक्का मुक्की और मारपीट करते हुए डिटेन कर लिया गया है और इसके बाद BHU के गार्ड्स और वाराणसी पुलिस, दोनों के द्वारा स्टूडेंट्स को तरह- तरह की धमकी दी गई जिसमें भविष्य खराब देने और देख लेने की धमकी भी शामिल है। फिर जबरदस्ती पुलिस वैन में भरकर सभी स्टूडेंट्स को मारपीट करते हुए पुलिस लेकर चली गई है जिसमें तीन लड़कियां भी शामिल हैं।"
आजाद ने कहा कि "पुलिस की यह करवाई गैरकानूनी और आपत्तिजनक है। शाम के बाद लड़कियों को पुलिस द्वारा डिटेन करना कानून का उल्लंघन और शक्ति का दुरुपयोग है। लंका थाने की पुलिस द्वारा लगातार यही कहा जा रहा कि 'मामला ऊपर से डील हो रहा' यानी खुले रूप में भाजपा आरएसएस -एबीवीपी जैसे मनुवादी -फासीवादी लोग शामिल है। हमें स्टूडेंट्स की कोई सूचना नहीं दी जा रही और वकील को भी उनसे मिलने नहीं दिया जा रहा। इसलिए हमें आशंका है कि उनपर गंभीर धाराओं में FIR दर्ज करके उन्हें गिरफ्तार करके जेल भेज दिया जाएगा।"
प्रेस विज्ञप्ति में आगे कहा गया कि "भगतसिंह स्टूडेंट्स मोर्चा फासिस्ट राज्य की मनुवादी पुलिस द्वारा की गई गैरकानूनी करवाई पर आक्रोश व्यक्त करता है साथ ही तमाम प्रगतिशील ताकतों को इसके खिलाफ एकजुट होने की अपील करता है।"