मध्य प्रदेश: पीएम केयर्स फंड से खरीदे 40 में से 9 वेंटिलेटर खराब, मरीज की मौत से खुली पोल

Written by Sabrangindia Staff | Published on: May 6, 2021
भोपाल। पीएम केयर्स फंड से मिले वेंटिलेटरों की कथित तौर पर घटिया क्वालिटी ने भोपाल स्थित मध्य प्रदेश के सबसे पुराने एवं बड़े सरकारी अस्पताल हमीदिया में कोरोना संक्रमित एक गंभीर रोगी की जान ले ली। वेंटिलेटर अचानक जवाब दे गया। दूसरे वेंटिलेटर पर शिफ्ट कर पाने के प्रयासों के बीच रोगी की जान चली गई।



घटनाक्रम सोमवार शाम को हुआ। हमीदिया अस्पताल के मेडिकल वार्ड नंबर तीन में भर्ती रोगी रामकुमार (58 वर्ष) की शाम होते-होते तबीयत बिगड़ी। उन्हें वेंटिलेटर लगा हुआ था। बेचैनी बढ़ने पर डॉक्टर और पैरामेडिकल स्टाफ पहुँचा। जाँच-पड़ताल के बीच वेंटिलेटर जवाब दे गया। वेंटिलेटर बंद हुआ तो हड़कंप मचा। आनन-फानन में उसे पुनः शुरू करने के प्रयास हुए। कोशिश असफल रही। अन्य वेंटिलेटर मंगाया गया। जब तक दूसरा वेंटिलेटर लगाते रोगी की जान चली गई।

अस्पताल अधीक्षक डॉक्टर लोकेन्द्र दवे को देर रात तक इस घटनाक्रम की जानकारी नहीं मिल पायी थी। मीडिया के पूछने पर उन्होंने पूरे घटनाक्रम की जानकारी लेने के साथ ही जाँच कराने की बात कही। उधर सूत्रों ने बताया वेंटिलेटर में खराबी आने और दूसरे वेंटिलेटर पर शिफ्ट करने के प्रयासों के बीच रोगी की जान गई।
 
वेंटिलेटर के ख़राब होने से जिस शख्स की मौत हुई वह मुख्यमंत्री शिवराज सिंह के निर्वाचन क्षेत्र बुदनी का रहने वाला था। विधानसभा क्षेत्र में आने वाली नसरुल्लागंज तहसील के अस्पताल में कोरोना का उसका उपचार चल रहा था। हालत बिगड़ने पर उसे सोमवार को ही भोपाल के हमीदिया अस्पताल में रेफर किया गया था।

चिकित्सा शिक्षा मंत्री विश्वास सारंग के अनुसार हमीदिया अस्पताल में वेंटिलेटर में आयी कथित ख़राबी से कोरोना रोगी की मौत के मामले की जाँच कराई जा रही है। उन्होंने कहा कि पीएम केयर फंड से सप्लाई हुए कई वेंटिलेटरों में ख़राबी को लेकर सप्लायर कंपनी को सूचना दी गई है। काफ़ी संख्या में वेंटिलेटर ख़राब होने संबंधी शिकायत की जाँच भी सरकार करवा रही है।

 

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