पटना. लोकसभा चुनाव से पहले बीजेपी के सहयोगी दल नाराज नजर आ रहे हैं। राष्ट्रीय लोक समता पार्टी (RLSP) के केंद्र की बीजेपी नीत एनडीए से अलग होने की अटकलों के बीच केंद्रीय मंत्री उपेंद्र कुशवाहा ने बीजेपी पर हमला बोला है। कुशवाहा ने राम मंदिर मुद्दे को 'राजनीतिक जुमला' करार देते हुए कहा कि 2019 के लोकसभा चुनाव के कारण इसे तूल दिया जा रहा है।
मोतिहारी में पार्टी के चिंतन शिविर के बाद कुशवाहा ने कहा, 'चूंकि लोकसभा चुनाव में कुछ ही महीने रह गए हैं, इसलिए वे राम मंदिर निर्माण की बातें कर रहे हैं। मंदिर या मस्जिद का निर्माण कराना राजनीतिक दलों का काम नहीं है। राम मंदिर महज राजनीतिक जुमला है। हम इस मुद्दे पर केंद्र के साथ नहीं हैं। उन्हें राम मंदिर के नाम पर राजनीति बंद करनी चाहिए।'
इस दौरान कुशवाहा बिहार के मुख्यमंत्री और जेडीयू अध्यक्ष नीतीश कुमार पर भी जमकर बरसे। उन्होंने कहा, 'नीतीश कुमार, लालू-राबड़ी के 15 साल के शासनकाल को कोस कर बिहार की सत्ता में आए थे, लेकिन सच्चाई यह है कि प्रदेश में आज कानून व्यवस्था की जो स्थिति है, वह उस समय के मुकाबले और अधिक बदतर है।'
उन्होंने बिहार में शिक्षा व्यवस्था की बदहाली के लिए भी नीतीश सरकार को जिम्मेदार ठहराया और कहा, 'अब अशिक्षा के विरोध में, शिक्षा की दशा सुधारने के लिए, कुशासन के खिलाफ और सुशासन के पक्ष में रण होगा।' आरएलएसपी नेता बिहार के बीजेपी नेताओं पर भी खूब बरसे और उन्हें प्रदेश के बीजेपी नेताओं को 'असली जुमलेबाज' बताया। उन्होंने कहा कि इन लोगों ने नीतीश के साथ मिलकर एक संगठन बना लिया है।
उपेंद्र कुशवाहा हाल के महीनों में तेजस्वी यादव के साथ नजर आए थे। इससे पहले भी वे राजद के साथ मंच शेयर करते रहे हैं। ऐसे में माना जा रहा है कि वे महागठबंधन में आ सकते हैं। ऐसे में बिहार जैसे राज्य में बीजेपी के लिए अपने एक साझीदार को गंवाना भारी पड़ सकता है।
मोतिहारी में पार्टी के चिंतन शिविर के बाद कुशवाहा ने कहा, 'चूंकि लोकसभा चुनाव में कुछ ही महीने रह गए हैं, इसलिए वे राम मंदिर निर्माण की बातें कर रहे हैं। मंदिर या मस्जिद का निर्माण कराना राजनीतिक दलों का काम नहीं है। राम मंदिर महज राजनीतिक जुमला है। हम इस मुद्दे पर केंद्र के साथ नहीं हैं। उन्हें राम मंदिर के नाम पर राजनीति बंद करनी चाहिए।'
इस दौरान कुशवाहा बिहार के मुख्यमंत्री और जेडीयू अध्यक्ष नीतीश कुमार पर भी जमकर बरसे। उन्होंने कहा, 'नीतीश कुमार, लालू-राबड़ी के 15 साल के शासनकाल को कोस कर बिहार की सत्ता में आए थे, लेकिन सच्चाई यह है कि प्रदेश में आज कानून व्यवस्था की जो स्थिति है, वह उस समय के मुकाबले और अधिक बदतर है।'
उन्होंने बिहार में शिक्षा व्यवस्था की बदहाली के लिए भी नीतीश सरकार को जिम्मेदार ठहराया और कहा, 'अब अशिक्षा के विरोध में, शिक्षा की दशा सुधारने के लिए, कुशासन के खिलाफ और सुशासन के पक्ष में रण होगा।' आरएलएसपी नेता बिहार के बीजेपी नेताओं पर भी खूब बरसे और उन्हें प्रदेश के बीजेपी नेताओं को 'असली जुमलेबाज' बताया। उन्होंने कहा कि इन लोगों ने नीतीश के साथ मिलकर एक संगठन बना लिया है।
उपेंद्र कुशवाहा हाल के महीनों में तेजस्वी यादव के साथ नजर आए थे। इससे पहले भी वे राजद के साथ मंच शेयर करते रहे हैं। ऐसे में माना जा रहा है कि वे महागठबंधन में आ सकते हैं। ऐसे में बिहार जैसे राज्य में बीजेपी के लिए अपने एक साझीदार को गंवाना भारी पड़ सकता है।