अयोध्या मामला: 6 हफ्ते के लिए टली सुनवाई, सुलह का आखिरी मौका

Written by sabrang india | Published on: February 26, 2019
नई दिल्ली। अयोध्या जमीन विवाद पर सुनवाई संविधान पीठ ने 6 हफ्ते के लिए टाल दी है। पीठ ने विवाद पर अहम टिप्पणी करते हुए कहा कि ट्रांसलेशन पर सहमति बनाई जा सके, इसके लिए सुनवाई अगले 6 हफ्ते तक के लिए टाली जा रही है। कोर्ट ने इस मामले में एक और अहम टिप्पणी करते हुए मध्यस्थता के प्रयास पर जोर दिया। कोर्ट ने कहा कि अगले मंगलवार को बेंच इस पर फैसला लेगी कि अदालत का समय बचाने के लिए मामले को कोर्ट की निगरानी में मध्यस्थता के जरिए सुलझाया जा सकता है या नहीं। 

सुप्रीम कोर्ट 5 मार्च को तय करेगा कि अयोध्या मामले समझौते के लिए मध्यस्थ के पास भेजा जाए या नहीं। इससे पूर्व पक्षकारों को कोर्ट को बताना होगा कि वे मामले में समझौता चाहते हैं या नहीं? जस्टिस बोबड़े ने अपनी टिप्पणी में कहा 'यह कोई निजी संपत्ति को लेकर विवाद नहीं है, मामला पूजा-अर्चना के अधिकार से जुड़ा है। अगर समझौते के जरिए 1 फीसदी भी इस मामले के सुलझने की गुंजाइश हो, तो इसकी कोशिश होनी चाहिए।' 

आगामी लोकसभा चुनावों को देखते हुए इस मामले पर देश भर की निगाह टिकी हुई है। पिछली सुनवाई में चीफ जस्टिस ने संकेत दिए थे कि आज की सुनवाई में मामले की रूप-रेखा तय की जाएगी। हालांकि, अब सुनवाई को ट्रांसलेशन पर सहमति बनाने के लिए अगले 6 सप्ताह के लिए टाल दिया गया है। 

पिछली सुनवाई के दौरान चीफ जस्टिस ने कहा था कि मामले से संबंधित जो रेकॉर्ड हैं उसमें 50 ट्रंक दस्तावेज है। रजिस्ट्री उसे एग्जामिन करे। दस्तावेज संस्कृत, अरबी, उर्दू, हिंदी , पारसी और गुरुमुखी में है। जिसका ट्रांसलेशन होना था। अगर जरूरत हो तो रजिस्ट्री आधिकारिक ट्रांसलेटर की मदद ले सकते हैं। 

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